किसानों के फर्जी साइन कर ~1.67 कराेड़ निकाले, बैंक मैनेजर, कैशियर पर मुकदमा
तीखड़ के आईसीआईसीआई बैंक मैनेजर कुलदीपसिंह यदुवंशी और कैशियर सूरजिसंह राजपूत पर रविवार काे पथराैटा थाने में एफआईआर दर्ज हुई। ग्रामीणाें का आराेप है कि दोनों ने बैंक के करीब 45 खाताधारक किसानाें के फर्जी हस्ताक्षर कर लगभग 1 कराेड़ 67 लाख तीस हजार रुपए निकाले। अब फरार हैं। किसानाें की केसीसी, बचत खाते, एफडी से जब रुपए निकाले और ब्याज की सूचना इंदौर ऑफिस से आई तब किसानों को ठगी का पता चला। किसानाें ने रविवार काे आराेपी बैंक मैनेजर और केशियर के खिलाफ पथराेटा थाने में एफआई आर दर्ज कराई है। शिकायतकर्ता किसान शशिकिशोर शर्मा निवासी सनखेड़ा और अन्य किसानाें की शिकायत पर बैंक शाखा के आराेपी बैंक मैनेजर यदुवंशी और कैशियर राजपूत के खिलाफ आईपीसी की धारा 409 व 420 के तहत धोखाधड़ी का केस दर्ज कर लिया है।
बैंक मैनेजर ने कैशियर की मदद ऐसे की धाेखाधड़ी
बैंक मैनेजर यदुवंशी खाताधारक किसानाें के खाताें से रुपए निकालता था। वह इसके लिए कैशियर की मदद लेता था। आराेपी ने विड्राॅल फाॅर्म पर खाताधारकाें के फर्जी हस्ताक्षर कर उनके खाताें से रुपए निकाले। साथ ही किसानाें के क्रेडिट कार्डाें पर उन्हें बताए बिना ही खाताें की लिमिट बढ़ाकर रुपया निकाल लिया। आराेपी मैनेजर ने ऐसे खाताधारकाें के केसीसी से भी रुपए निकाले, जिनके खाते बंद हाे चुके हैं। साथ ही कुछ लाेगाें के फर्जी एकाउंट खाेलकर भी उनके खाताें पर क्रेडिट कार्ड के माध्यम से लाेन ले लिया। इस धोखाधड़ी में उसने कैशियर की भी मदद ली। साइन वैरिफाई किए बिना खाते से रुपए निकाले गए।
खाता बंद, निकाले साढ़े ~ 8 लाख
शिकायतकर्ता किसान शर्मा ने बताया उन्हाेंने बैंक की शाखा में 1 मार्च 2016 काे खाता खुलवाया था। 3 जून 2020 काे बैंक से एनअाेसी लेकर खाता बंद करा दिया। इसके बाद 30 जून 2020 काे उनके पास आईसीआईसीआई बैंक की मुख्य शाखा इंदाैर से फाेन पर जानकारी मिली कि 17 जून 2020 काे उक्त खाते के किसान क्रेडिट कार्ड से 8 लाख 55 हजार रुपए का लाेन लिया गया है। इसी तरह से कुछ लाेगाें के फर्जी अकाउंट खाेलकर भी रुपया निकाला है। इसकी जानकारी किसानाें काे अब लग रही है।
इन खाताधारकों के साथ धोखाधड़ी
शशिकिशोर शर्मा, अजीत मेहतो, राजेश वर्मा, रामकृष्ण चिमानिया, विशाल, सहदीप राज वर्मा, फूलवती सराठे, नमन चिमानिया, निखिल चिमानिया, राजेश कुमार चौधरी, शिरिल चौधरी, जयचंद, संजीव, सुनील, सरविंद, संतोष, आनंद, स्नेहलता, अनुराधा, धीरजलाल, क्षमा साहू, दिलीप मेहतो, सुजीत मेहतो, प्रीतम सिंह परते, काशीप्रसाद गौर, नीरज प्रसाद गौर, दामोदर यादव, नरेश कुमार गौर, सुशील गौर, छोटेलाल पाल, गोविंद कोर, राजकुमार, अल्पना मेहतो, प्रमोद, हरीश चिमानिया, ओमप्रकाश यादव, चंद्रप्रकाश यादव सहित अन्य लोग।
रमेश हिले, लीड बैंक मैनेजर
किसी भी बैंक में खाताधारक के साथ रुपए के लेनदेन काे लेकर धाेखा हाेता है ताे इसकी जवाबदारी बैंक प्रबंधन की हाेती है। तीखड़ में बैंक मैनेजर ने गबन किया तो किसानाें काे बैंक ही रुपए लाैटाएगा। इसके लिए बैंक पहले विड्राॅल फाॅर्म में किए गए हस्ताक्षराें का मिलान और फॉरेंसिक जांच कराएगा। साथ ही जाे भी केसीसी या ऋण खाते बंद हाे चुके हैं उन्हें भी दाेबारा खाेलने के लिए खाता खुलने के लिए एक दिन पहले की स्टांप ड्यूटी लगती है। जिस पर खाताधारक के हस्ताक्षर हाेते हैं। इसलिए फर्जी खाता खाेलना आसान नहीं है।
बैंक मैनेजर और कैशियर की पुलिस कर रही जांच
तीखड़ स्थित आईसीआईसीआई बैंक के शाखा प्रबंधक और कैशियर के खिलाफ खाताधारक किसानाें ने खाताें की राशि के गबन का आराेप लगाया है। किसानाें की शिकायत पर आराेपियाें के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली है। बताया जा रहा है कि बैंक मैनजर और कैशियर दाेनाें ही भाग चुके हैं। -प्रज्ञा शर्मा, थाना प्रभारी पथराैटा
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