वार्ड नंबर 8 के रहवासियों की शिकायत, सर्वे किया, लेकिन नहीं मिला खाद्यान्न, घराें में पानी घुसने के कारण खराब हुआ सामान

शहर के बाढ़ प्रभावित क्षेत्राें में नपा और प्रशासन की टीम सर्वे करा रही है। सर्वे के बाद प्रभावित क्षेत्राें के लाेगाें काे सूचीबद्ध कर उन्हें शासन की ओर से मिलने वाली सहायता और खाद्यान्न उपलब्ध कराया जा रहा है, लेकिन वार्ड नंबर 8 के डूब क्षेत्र इंद्रप्रस्थ काॅलाेनी के पीछे और सांईबाबा काॅलाेनी के रहवासियाें की शिकायत है कि उन्हें बाढ़ प्रभाविताें काे दिए जाने वाला खाद्यान्न नहीं मिल रहा है।
लाेगाें ने बताया कि वार्ड के मालाखेड़ी क्षेत्र में करीब साै से अधिक घराें में बारिश का पानी घुसा था, इसके चलते लाेगाें घराें में रखा अनाज व अन्य सामग्री खराब हाे गई। वार्ड में दाे दिन पहले ही बाढ़ प्रभाविताें का सर्वे कराया जा चुका है।
इसमें वार्ड से सभी प्रभाविताें काे सूचीबद्ध किया गया है, लेकिन अब तक केवल 25 प्रभावित परिवाराें काे ही खाद्यान्न मिला है, अन्य परिवाराें काे खाद्यान्न नहीं मिला है। वार्ड के कुछ परिवार ऐसे भी हैं, जिनके पास बीपीएल राशन कार्ड नहीं है। हालांकि प्रशासन का कहना है कि ऐसे प्रभावित जिनके पास राशनकार्ड नहीं हैं, उन्हें सूचीबद्ध किया जा रहा है और उन्हें भी मुख्यमंत्री खाद्यान्न सहायता के तहत अनाज दिया जाएगा।
प्रभावित बाेले हमारे पास नहीं राशन कार्ड
- 1 सांईबाबा काॅलाेनी निवासी भगवानदास केवट ने बताया कि उनके घर में छत तक बाढ़ का पानी घुसा था। सर्वे हुआ है जिसमें हमारा नाम लिखा गया है, लेकिन अब तक खाद्यान्न नहीं मिला है। हमारे पास राशन कार्ड नहीं है।
- 2 इंद्रप्रस्थ काॅलाेनी के पीछे वार्ड नंबर 8 की निवासी प्रीती ने बताया कि उनके पास राशनकार्ड नहीं है। नपा में आवेदन किया है, लेकिन कार्ड अब तक नहीं बना है। बाढ़ प्रभाविताें काे दिया जाने वाला अनाज भी नहीं मिला है।
- 3वार्ड 8 के रहवासी राेहित ने बताया कि उनके घर में बाढ़ के पानी भरे रहने के कारण अनाज व सामान खराब हाे गया। सर्वे हुआ, लेकिन अनाज नहीं मिला।
- 4सांईबाबा काॅलाेनी निवासी महेंद्र केवट ने बताया कि वार्ड के ऐसे लाेगाें काे अनाज मिल गया है जिनके पास बीपीएल राशनकार्ड हैं, लेकिन जिनके पास राशनकार्ड नहीं हैं उन्हें अनाज नहीं मिला है।
पूर्व पार्षद बाेले सभी के नाम सर्वे में जुड़े
वार्ड 8 के पूर्व पार्षद विवेक श्रीवास्तव ने बताया कि उनके वार्ड के सभी बाढ़ प्रभाविताें के नाम सर्वे के दाैरान सूची में जुड़वाए गए हैं।
वार्ड के कुल 25 लाेगाें काे खाद्यान्न मिला है, लेकिन जिनके पास राशनकार्ड नहीं हैं ऐसे लाेगाें काे अब तक अनाज नहीं मिला। साथ ही बीपीएल कार्डधारकाें काे प्रशासन की ओर से 50 किलाे अनाज की सहायता नहीं दी जा रही है। जबकि सीएम शिवराज ने इसकी घाेषणा की है। श्रीवास्तव ने चेतावनी देते हुए कहा कि प्रशासन ने मनमानी की ताे आदाेलन हाेगा।
अब तक बाढ़ प्रभावित क्षेत्राें का 70% सर्वे पूरा हुआ है
शहर में सर्वे का कार्य अभी चल रहा है। सर्वे के दाैरान जाे नाम सूचीबद्ध हाे रहे हैं, उनका सत्यापन कर सहायता प्रदान की जा रही है। सभी प्रभाविताें काे सहायता मिलेगी सर्वे रजिस्टर से यदि काेई नाम छूटता है ताे उसे सूची में शामिल किया जा रहा है। शहर में अब तक बाढ़ प्रभावित क्षेत्राें का 70 प्रतिशत सर्वे पूरा हुआ है।
निधि चाैकसे,तहसीलदार
हमारे पास शासन के सर्वे के बाद जाे सूची पहुंच रही है उसके आधार पर ही अनाज वितरण किया जा रहा है। सूचीबद्ध बाढ़ प्रभाविताें काे अनाज वितरण हाे रहा है।
सरफराेज खान, कनिष्ठ आपूर्ति अधिकारी
सर्वे का कार्य चल रहा है, सूचीबद्ध लाेगाें काे अनाज की सहायता की जा रही है। बीपीएल कार्डधारकाें काे पहले से ही काेविड सहायता व बीपीएल सुविधा का अनाज मिल रहा है। जिनके पास राशनकार्ड नहीं हैं उन्हें सूचीबद्ध कर पहले सहायता पहुंचाने का प्रयास किया जा रहा है।
माधुरी शर्मा, सीएमओ
बाढ़ सर्वे कार्य का कलेक्टर ने किया निरीक्षण
जिले में बाढ़ से प्रभावित हुए ग्रामों में हुए सर्वे का कलेक्टर धनंजय सिंह ने निरीक्षण किया। इस दौरान जिपं सीईओ मनोज सरियाम मौजूद रहें। उन्होंने होशंगाबाद के ग्राम बांद्राभान, विकासखंड बाबई के ग्राम सांगाखेड़ा कला, बालाभेंट, पीलिकरार, झलसरसेठ में फसल क्षति, मकान क्षति एवं अन्य नुकसान का जायजा लिया। कलेक्टर सिंह ने सर्वे को और गति प्रदान करने के निर्देश दिए।
कलेक्टर ने बाबई के बाढ़ प्रभावित ग्रामों में ग्रामीणाें से चर्चा की एवं उनसे फसल क्षति, मकान क्षति एवं अन्य हुए नुकसान की जानकारी ली। उन्होंने प्रशासन से हर संभव मदद का आश्वासन दिया। निरीक्षण के दौरान जिपं सीईओ मनोज सरियाम, अधीक्षण यंत्री तवा परियोजना एसके सक्सेना, एसडीएम आदित्य रिछारिया, उपसंचालक कृषि जितेंद्र सिंह, तहसीलदार शैलेन्द्र बड़ोनिया सहित अन्य अधिकारी माैजूद रहे।
7268 लोगों को ही राहत राशि दी, 51 फीसदी किसानों का किया सर्वे
जिलेभर के बाढ़ पीड़िताें तक प्रशासन 10 दिन बाद भी सर्वे का काम पूरा नहीं कर पा रहा है। लाेगाें काे राहत देने के लिए समाजसेवियाें ने भाेजन के इंतजाम किए। यह स्थिति राजस्व विभाग के माध्यम से खाद्य विभाग को जरूरतमंदों की सूची देरी से मिलने के कारण बनी है।
पिछले दिनों जिले में बने बाढ़ के हालात के चलते 400 से ज्यादा गांवों के हजारों परिवारों के आशियाने उजड़ गए। करीब 10 हजार लोग बेघर हो गए। डिप्टी कलेक्टर भारती मेरावी ने बताया की जिले में 7 हजार 268 लाेगाें काे मकान क्षतिग्रस्त हाेने पर राहत राशि दाे कराेड 76 लाख रुपए राहत राशि के लिए डाल दिए हंै। पीड़ित परिवारों को 50-50 किलो गेहूं का वितरण कर दिया है। विभाग जैसे-जैसे सूची उपलब्ध करा रहा है वैसे-वैसे खाद्यान्न पहुंचाया जा रहा है। इधर, जिले में 80 फीसदी गांवाें में 51 फीसदी किसानाें की फसलाें का सर्वे हाे गया है। बाकी का काम टीम लगातार कर रही है।
सर्वे हो रहा है हर जरुरतमंद लोगों काे मिलेगी मदद
बाढ आपदा बहुत बड़ी है। ऐसे में प्रशासन अपने स्तर पर सर्वे का काम कर रहा है। हमारा प्रयास है कि हर जरूरतमंद तक मदद पहुंचे। हमारी टीमें इस पर काम भी कर रही हैं। लापरवाही जैसा मामला नहीं है।
-जीपी माली, एडीएम
Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today
from Dainik Bhaskar https://ift.tt/35pEtdt
0 Comment to "वार्ड नंबर 8 के रहवासियों की शिकायत, सर्वे किया, लेकिन नहीं मिला खाद्यान्न, घराें में पानी घुसने के कारण खराब हुआ सामान"
Post a Comment