डेंगू की जांच के लिए सरकारी अस्पताल में नहीं है पर्याप्त संसाधन, लक्षण के आधार पर भेजते हैं जिला मुख्यालय

पिछले कई दिनों से शहर सहित ग्रामीण क्षेत्रों में डेंगू बुखार का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। शहर के निजी व शासकीय अस्पतालों में मरीजों की भीड़ दिखाई दे रही है। मौसम में हुए बदलाव के बाद डेंगू बुखार के ज्यादा मरीज आ रहे हैं। शहर से ज्यादा मरीज ग्रामीण क्षेत्रों में मिल रहे हैं। इससे अस्पतालों में इलाज के लिए रोजाना आ रहे हैं। इसके बाद भी प्रशासन का इस ओर कोई ध्यान नहीं है। न तो ग्रामीण क्षेत्रों व शहरी क्षेत्रों में दवाई का छिड़काव किया जा रहा है। इसके कारण लोग को इस बीमारी से ग्रसित हो रहे हैं। ग्रामीणों ने जिला प्रशासन से ग्रामीण क्षेत्रों में भी विशेष रूप से साफ-सफाई व दवा छिड़काव कराने की मांग की है। साथ ही डेंगू मरीजों के उपचार के लिए विशेष व्यवस्था करना चाहिए।
ग्राम चित्रमोड़ से जय करोड़ा ने बताया मेरे बेटे आरुष करोड़ा सहित मेरे गांव के चार-पांच डेंगू के मरीज अस्पतालों में भर्ती हैं। इसमें एक मरीज के अधिक काउंट कम होने से उसे इंदौर भेजा गया है। ग्रामीण क्षेत्रों के कई डेंगू मरीज सनावद के अस्पतालों में भर्ती है। जिनका उपचार चल रहा है। इस संबंध में जय करोड़ा ने पत्र लिखकर मुख्य चिकित्सा व स्वास्थ्य अधिकारी जिला खरगोन को क्षेत्र की डेंगू बीमारी की स्थिति से अवगत कराया है। साथ ही इसकी रोकथाम के लिए व्यवस्था कराने की मांग की है।
सनावद अस्पताल में नहीं है उपचार के लिए किट
सिविल अस्पताल प्रभारी डॉ. हंसा पाटीदार ने बताया सनावद अस्पताल में अब तक एक भी डेंगू का मरीज नहीं मिला है। न ही इसकी जांच हुई है। अस्पताल में डेंगू के मरीज की जांच करने के लिए किट की व्यवस्था नहीं है। यहां पर सीबीसी जांच के लिए भी कोई संसाधन नहीं है। इस संबंध में कोई मरीज आता है तो उसके लक्षणों से उसकी पहचान की जाती है। ऐसे मरीजों को डेंगू की जांच के लिए जिला मुख्यालय खरगोन रैफर किया जाता है, ताकि वहां जांच हो सके।
यह होते हैं डेंगू के लक्षण
प्लेटरेट कम होना, शरीर पर खून के धक्के जमना, दांतों व कानों से खून बहना, बुखार व सिरदर्द होना, आंखों की पुतली घुमाने पर दर्द होना सहित अन्य लक्षण इस बीमारी है। इसके होने पर अस्पताल जाकर इसकी जांच कराए।
विभाग के पास नहीं है डेंगू के मरीजों की संख्या, दवाई का कहां हुआ छिड़काव
इस मौसम में हर साल डेंगू से बचाव के लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा जागरुकता फैलाई जाती है। इसके लिए गांवों में दवाइयों का छिड़काव, मरीजों की जांच व अन्य व्यवस्था की जाती है। इसके बाद भी ब्लॉक के स्वास्थ्य विभाग के पास अब तक कोई जानकारी नहीं है। विभाग के अनुसार क्षेत्र में अभी तक एक भी डेंगू का मरीज नहीं है। इसके किठूद व बड़वाह में संक्रमित मरीज मिले थे। इन्हें जांच के लिए खरगोन भेजा गया था। अब तक पॉजिटिव मरीजों की जानकारी नहीं मिली है। डेंगू से बचाव के लिए किस गांव में कितनी दवाई का छिड़काव का किया है तो वह इस संबंध में भी कोई जानकारी नहीं दे पाए। मलेरिया निरीक्षक उस्मान पठान ने बताया क्षेत्र में अब तक एक भी डेंगू का पॉजिटिव मरीज नहीं मिला है। अगर किसी गांव में मरीजों की जानकारी मिलती है तो जांच की जाएगी।
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