सभी मैरिज गार्डनों को तीन महीने में नए सिरे से कराना होगा रजिस्ट्रेशन

मैरिज गार्डन संचालकों को अब अगले तीन महीने में नए सिरे से अपना रजिस्ट्रेशन कराना होगा। उन्हें अपने कुल एरिया का कम से कम 25 फीसदी पार्किंग के लिए आरक्षित रखना होगा। जिस स्थान पर 50 लोग से ज्यादा इकट्‌ठा होकर कोई समारोह कर सकते हैं, उसे मैरिज गार्डन की श्रेणी में रखा जाएगा। कॉलोनियों के बीच स्थित सार्वजनिक पार्क में कोई भी शादी या समारोह आयोजित नहीं किया जा सकेगा।

यह प्रावधान मैरिज गार्डन के लिए बने नए नियमों में किए गए हैं।नगरीय प्रशासन ने पूरे प्रदेश में यह नियम लागू कर दिए हैं। अभी तक विभाग ने इसके लिए अलग से कोई नियम नहीं बनाए थे। उज्जैन नगर निगम ने अपने स्तर पर इसके नियम बना रखे थे।

मैरिज गार्डनों के लिए नियम का मामला हाईकोर्ट में भी गया था। हाईकोर्ट के निर्देश के बाद नगरीय प्रशासन ने उज्जैन के ही नियम प्रदेश में लागू कर रखे थे। अब इसमें सुधार कर उन्हें लागू किया है। इसकी अधिसूचना जारी कर दी गई है। जिन मैरिज गार्डनों ने अगले 3 महीने में रजिस्ट्रेशन नहीं कराया तो निकाय उन्हें अवैध घोषित कर हटा देगा और अदालती कार्यवाही भी करेगा।

क्षेत्रफल के अनुसार एक हजार से साढ़े 12 हजार रुपए तक देना होगा पंजीयन शुल्क

मैरिज गार्डन को निकाय में रजिस्ट्रेशन कराना होगा। इसमें पार्किंग, साफ-सफाई, सुरक्षा, अग्निशमन, क्षमता आदि की जानकारी देना होगी। निकाय व क्षेत्रफल के अनुसार उन्हें एक हजार से साढ़े 12 हजार रुपए तक पंजीयन शुल्क देना होगा। इसके साथ ही हर साल 750 से 10 हजार रुपए उपभोक्ता शुल्क भी भरना पड़ेगा। हर तीन साल में रजिस्ट्रेशन का नवीनीकरण कराना होगा। नियमों का उल्लंघन करने पर 10 हजार रुपए तक जुर्माना लगेगा।

स्कूल-कॉलेज, अस्पताल से 100 मीटर की दूरी पर होना चाहिए मैरिज गार्डन

मैरिज गार्डन के आसपास कोई स्कूल-कॉलेज या अस्पताल नहीं होना चाहिए। इसके लिए 100 मीटर की दूरी तय की गई है। गार्डन में रात 10 से सुबह 8 बजे तक ध्वनि विस्तारक यंत्रों का उपयोग नहीं होगा। विकास समिति, गृह निर्माण समिति आदि द्वारा सार्वजनिक पार्क स्थान के लिए चिह्नित स्थानों का उपयोग शादी समारोह के लिए नहीं हो सकेगा। इसके लिए लाइसेंस नहीं दिया जाएगा।

किसे मानेंगे मैरिज गार्डन

निकाय सीमा में 50 लोगों से ज्यादा एकत्रित होने की क्षमता रखने वाले स्थानों को मैरिज गार्डन की श्रेणी में रखा गया है। इसमें होटल, प्लॉट, फार्म, सामुदायिक केंद्र, भवन, क्लब, बैंक्वेट हॉल, धर्मशाला आदि शामिल हैं, जिनका उपयोग शादी, सगाई, जन्मदिन, उत्सव, प्रदर्शनी, कन्वेंशन, गरबा, नववर्ष आदि समारोह के लिए किया जाता है।



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नगरीय प्रशासन ने नियमों में सुधार कर अधिसूचना की जारी


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